सीएम मोहन यादव ने पटवारियों को गांवों में रहने का निर्देश क्यों दिया?

सीएम मोहन यादव ने: मध्य प्रदेश में अब पटवारी के लिए नए नियम जारी किए गए हैं। पटवारी को नियुक्ति वाले गांव में ही रहना पड़ेगा। और अगर कोइ पटवारी शहर से अपडाउन करता है तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी। क्या है नए मुख्यमंत्री का प्लान आज और क्यों इस तरह का नियम लागू किया जा रहा है हम यहां विस्तार से जानेंगे।

मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव जी ने पटवारी के लिए किए आदेश जारी

सीएम मोहन यादव ने: मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव जी ने पटवारी के लिए आदेश जारी किया और कहा कि राजस्व विभाग की सेवाएं आम आदमी के लिए होती हैं। इसके द्वारा आम आदमी बहुत ज्यादा प्रभावित हो जाता है यदि समय पर उनको कोई सहायता न मिले। इसके लिए उनको जल्द से जल्द निराकरण मिलना चाहिए। उनका कहना है कि सूचना प्रौद्योगिकी का भी ज्यादा से ज्यादा उपयोग किया जाए और जो काम लंबित पड़े हैं उन कामों को शिविर के द्वारा संपन्न किया जाए।

सीएम मोहन यादव जी ने विभागों की समीक्षा

मध्य प्रदेश के नए मुख्यमंत्री द्वारा अलग-अलग विभागों की समीक्षा लगातार हो रही हैं। ऐसा लग रहा है निरंतर यह प्रक्रिया जारी रहेगी। और कहीं ना कहीं एक्शन हर मामले में लिया जाएगा। सीएम मोहन यादव लगातार बैठक कर रहे हैं। और अलग-अलग विभागों की समीक्षा करने में जुटे हुए हैं । विभागों की कमिया जो मिल रही है उस पर तो कारवाई कर ही रहे हैं। लेकिन आने वाले समय में विभाग कैसे काम करेगा इसको लेकर भी वो रणनीति तैयार कर रहे हैं।

राजस्व सुधार दिशा

बैठक में सीएम ने राजस्व विभाग को सुधारने के लिए कई निर्देश दिए, जैसे कि राजस्व रिकॉर्ड को सुधारने के लिए कैंप लगाने का आदान-प्रदान और समस्याओं के स्पष्ट समाधान की दिशा में। मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री डॉ मोहन यादव जी मंत्रालय में अधिकारियों के साथ बैठक की है। राजस्व विभाग की समीक्षा बैठक उनके द्वारा की गई और दिशा निर्देश भी अधिकारियों को दिए गए हैं। राजस्व रिकॉर्ड सुधारने के लिए कैंप लगाने के निर्देश दिए गए लोगों की समस्याओं को हल करने के निर्देश पर समाधान हो।

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बैठकों का संचालन

बैठक का संचालन नियमित रूप से हो रहा है, जिसमें नए सीएम के द्वारा विभागों की समीक्षा की जा रहा है और समस्याओं का समाधान करने के लिए निर्देश दिए जा रहे हैं। सीएम ने बैठक में बढ़ती ढिलाई और समस्याओं के समाधान की सख्ती की दिशा में निर्देश दिए हैं। और उन्होंने आने वाले समय में भी ऐसे ही अभियान के लिए तैयारी की हैं।

रोजगार परक शिक्षा की तरफ ध्यान

जैसे प्राथमिक शिक्षा और माध्यमिक शिक्षा को लेकर शिक्षा मंडल के पदाधिकारियों के साथ अधिकार के साथ बैठक की उन्होंने साफ तौर पर निर्देश दिया कि मध्य प्रदेश की जो शिक्षा है वो रोजगार परक शिक्षा हो। इस तरफ आपको ध्यान देना है ना केवल आपको रोजगार परक शिक्षा की तरफ ध्यान देना बल्कि अब प्राइमरी से ही आपको रोजगार परक शिक्षा की तरफ ध्यान देना है तो एक बड़ा जो है वो निर्देश से माना जा सकता है।

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