रिजल्ट: मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव का परिणाम 3 दिसंबर को आने वाला है जिसके चलते सभी पार्टियों के लिए उनका एक एक वोट महत्वपूर्ण माना जा रहा है क्योंकि जब चुनावी मुद्दों पर उम्मीदवारों में मुकाबला बराबरी का होता है, तब जीत-हार में हर एक वोट अहम भूमिका हो जाती है। और वैसे भी इस बार देखा जाय तो मध्यप्रदेश चुनाव में इस बार भाजपा, कांग्रेस और अन्य राजनीतिक दलों के उम्मीदवारों के बीच बेहद कड़ा मुकाबला है।
बालाघाट में समय से पहले खुला डाकमत पत्र
कांग्रेस ने भाजपा पर आरोप लगाते हुए और एक्स पर वीडिओ जारी कर कहा कि बालाघाट कलेक्टर डॉ. गिरीश कुमार मिश्रा द्वारा स्ट्रांग रूम से पोस्टल वोट निकालकर उनमें हेराफेरी की है। कांग्रेस पार्टी ने चुनाव आयोग से मांग की है कि बालाघाट कलेक्टर गिरीश कुमार मिश्रा सहित उक्त कृत्य में शामिल कर्मचारियों को तत्काल निलंबित किया जाए।
मध्यप्रदेश राज्य निर्वाचन कार्यालय के मुताबिक चुनाव ड्यूटी में लगे 3 लाख 34 हजार 354 अधिकारी-कर्मचारियों को डाक मतपत्र जारी किए गए थे। 3.23 लाख कर्मचारियों ने डाक मतपत्रों का प्रयोग किया. फिलहाल 11 हजार 354 डाकपत्रों का रिकार्ड उपलब्ध नहीं है। कांग्रेस ने निर्वाचन कार्यालय पर आरोप लगाया है कि आंकड़े छिपाए जा रहे।
एमपी में हुई रिकॉर्ड तोड़ वोटिंग
मध्यप्रदेश विधानसभा चुनाव 230 सीटों के लिए 17 नवंबर को मतदान संपन्न हुआ जिसके चलते पूरे राज्य भर में सुरक्षा के इंतजाम किये गए ताकि यह चुनाव सही तरीके से पूर्ण हो सके। 2023 के विधानसभा चुनाव संपन्न होने पर बताया जा रहा है कि इस बार 70 फीसदी से ज्यादा मतदान हुआ है।
रिजल्ट के तीन दिन पहले शिवराज ने बुलाई कैबिनेट बैठक
मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव के नतीजे से 3 दिन पहले 30 नवंबर को ही शिवराज सिंह चौहान ने कैबिनेट की बैठक बुला ली है कहा जा रहा है कि यह बैठक 4 दिसंबर को होना था परन्तु यह समय से पहले हो रहा है जिसकी वजह से इस बैठक को लेकर कयासबाजी शुरू हो गई है।
हालांकि आपको बता दें कि इस बार के नतीजें आने में देरी होगी क्योंकि इस बार पोस्टल बैलेट का उपयोग किया गया है जिस वजह से शुरुआती रुझान भी 9 बजे तक आ पाएगा।
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