सीएम मोहन यादव: आज मध्य प्रदेश के मुरैना जिले में नए मुख्यमंत्री मोहन यादव जी अपने कार्यकाल के पहले रोजगार मेले में शामिल हुए। इस रोजगार दिवस के कार्यक्रम में मुख्यमंत्री जी ने 7 लाख से अधिक युवाओं को स्व रोजगार से जोड़ने के लिए ऋण वितरित किया। और कार्यक्रम को संबोधित करते हुऐ कई घोषणाएं की।
7 लाख से अधिक युवा स्वरोजगार से जुड़े
मध्य प्रदेश की मुरैना जिले में युवाओं को रोजगार उपलब्ध कराने के उद्देश्य से मुख्यमंत्री मोहन यादव जी ने बड़ा कदम उठाया और अपने पहले ही रोजगार मेले में 7 लाख से अधिक युवाओं को स्वरोजगार से जोड़ा जिसमें कुल 5151 करोड़ से अधिक ऋण राशि स्वरोजगार हेतु युवाओं के खाते में सिंगल क्लिक के माध्यम से ट्रांसफर की गई।
सीएम मोहन यादव: पूर्व विदित है कि हर महीने राज्य में रोजगार दिवस का कार्यक्रम मनाया जाएगा। जिसमें राज्य सरकार और केंद्र सरकार की विभिन्न योजनाओं के अंतर्गत युवाओं को लाभान्वित किया जाएगा। मध्य प्रदेश के मुरैना जिले में हुए इस रोजगार दिवस के कार्यक्रम में मुख्यमंत्री जी ने विभिन्न लाभार्थियों से संवाद किया।
रोजगार दिवस कार्यक्रम के पहले सीएम ने की समीक्षा बैठक
मुख्यमंत्री मोहन यादव जी का आज राज्य स्तरीय रोजगार कार्यक्रम था और इस कार्यक्रम से पहले उन्होंने एक संभागीय समीक्षा बैठक भी राखी। समीक्षा बैठक में मुख्यमंत्री जी ने सभी विभागों को अफसर को अपना-अपना कार्य समय पर पूरा करने के निर्देश दिए इसके साथ ही उन्होंने यह निर्देश दिया कि किसी भी योजना में गड़बड़ी नहीं होनी चाहिए। एवं सभी हितग्राहियों को योजनाओं का लाभ मिले यही हमारा लक्ष्य है।
संभागस्तरीय समीक्षा बैठक पूर्ण होने के बाद मुख्यमंत्री जी ने मीडिया से बात करते हुऐ आज के बजट को सर्वहितैषी एवं सर्वसमावेशी बताया। आगे उन्होंने कहा कि यह अंतरिम बजट 2024-25 का किसानों, युवाओं, महिलाओं एवं गरीबों के लिए कल्याणकारी होने वाला है।
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सीएम मोहन यादव ने रोजगार दिवस कार्यक्रम के दौरान की घोषणा
मुख्यमंत्री मोहन यादव जी आज स्वरोजगार दिवस के कार्यक्रम में शामिल होकर 7 लाख से अधिक युवाओं को स्वरोजगार से जोड़ा एवं कई अन्य घोषणाएं की। जिसमें सबसे पहले उन्होंने कहा कि अग्निवीर की तैयारी करने के लिए नि:शुल्क कोचिंग कराई जाएगी एवं औद्योगिक इकाई लगाने पर सरकार द्वारा सब्सिडी दी जाएगी।
मुख्यमंत्री जी ने आगे कहा कि चंबल के विकास कार्यों की योजना चंबल पर बैठकर ही बनाई जाएगी। और शुगर फैक्ट्री बंद होने से किसानों एवं मजदूरों का बकाया जल्द दिया जाएगा और नई फैक्ट्री लगाने का उद्देश्य भी है।